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हाईकोर्ट में सुनवाई के बाद सरकार फिर रिपोर्ट देगी, कचरे से जहरीला हुआ पानी

भोपाल स्थित यूनियन कार्बाइड फैक्टरी में दफन 350 मीट्रिक टन कचरे का मुद्दा एक बार फिर सुर्खियों में आ गया है। भोपाल गैस त्रासदी का कचरा नष्ट करने के लिए केंद्र सरकार 129 करोड़ रुपए देगी। अब 27 सितंबर को होने वाली अगली सुनवाई में केंद्र सरकार को प्रगति की रिपोर्ट विधिवत हलफनामे के साथ पेश करना है। इस कचरे की वजह से फैक्टरी आसपास रहने वालों को 39 साल बाद भी परेशानी हो रही है।
एक रिपोर्ट में आसपास के इलाकों का भूमिगत जल जहरीला होने की बात भी सामने आ चुकी है। कचरे के निपटान से यहां रहने वाले लोगों को भी बड़ी राहत मिलेगी। कारखाने के नजदीक स्थित 15 नई कॉलोनियों के भूजल में नाइट्रेट, क्लोराइड और कैडमियम मिला था।
भूमिगत जल यहां हुआ प्रदूषित : ग्रीन पार्क कॉलोनी, संत कंवरराम नगर, चौकसे नगर, रंभा नगर, रिसालदार कॉलोनी, राजगृह कॉलोनी, फूटा मकबरा, एकता नगर, दुलीचंद का बाग, नया कबाड़खाना, इहले हदीस मस्जिद, सुंदर नगर, शाहीन नगर कॉलोनी, निशातपुरा, प्रताप नगर, लक्ष्मी नगर, चंदन नगर, छोला मंदिर, द्वारका नगर और कृष्णा नगर।
यहां लिमिट से ज्यादा मिला कैडमियम : रंभा नगर, रिसालदार कॉलोनी, फूटा मकबरा, एकता नगर, दुलीचंद का बाग, न्यू कबाड़खाना, इहले हदीस मस्जिद, सुंदर नगर, शाहीन नगर, निशातपुरा, प्रताप नगर, लक्ष्मी नगर, छोला मंदिर, द्वारका नगर के साथ ही कृष्णा नगर।

रिपोर्ट में हुआ खुलासा
यूनियन कार्बाइड कारखाना परिसर में जमीन में दफन जहरीले कचरे से क्षेत्र की 15 नई कॉलोनियों का भूजल (ग्राउंड वॉटर) दूषित हो गया है। यह खुलासा साल 2018 में सीएसआईआर-इंडियन इंस्टीट्यूट आॅफ टॉक्सिकोलॉजी रिसर्च (आईटीआरसी) लखनऊ की रिपोर्ट में हुआ था। टॉक्सिकोलॉजी रिसर्च की टीम ने सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर कार्बाइड कारखाना के नजदीक स्थित 20 नई कॉलोनियों से ग्राउंड वॉटर का सैंपल लिया था। इनमें से छह कॉलोनियों के ग्राउंड वॉटर में नाइट्रेट और क्लोराइड तय लिमिट से ज्यादा मिला है। रिपोर्ट के अनुसार रंभा नगर, रिसालदार कॉलोनी समेत 15 बस्तियों के लोग दूषित पानी पी रहे हैं। इन कॉलोनियों के रहवासियों के घर के 67 फीट से लेकर 1,689 फीट तक की गहराई वाले बोरवेल से पानी के सैंपल लिए गए थे। इन 20 सैंपल्स में से 15 में हैवी मैटल कैडमियम मिली थी, जबकि 13 सैंपल में लैड और 7 में निकिल मिला था। मध्यप्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के पीने के पानी के मानकों के अनुसार एक लीटर पानी में अधिकतम 0.003 मिली ग्राम कैडमियम युक्त पानी का उपयोग पीने में किया जा सकता है, लेकिन 15 बस्तियों के पानी में कैडमियम की मात्रा 0.004 से 0.006 के बीच मिली थी। इसके अलावा, 6 कॉलोनियों के भूजल में नाइट्रेट और क्लोराइड ज्यादा मिला था।

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